Saturday, 19 October 2013

चाणक्य जी ने बताया कि राजतन्त्र के लिए अतिआवश्यक चार बातें कौन सी बतायी-

1-      लक्ष्य की राजा ,राज्यकर्मचारियों की उचित नियुक्ति ,रक्षित का वर्धन ,अलक्ष्य का लाभ ,राजकाज में विनियोग और व्यय –यह चार बातें राजतन्त्र के लिए आवश्यक हैं |


  भावार्थ- इन्हीं चार बातों पर राज्य निर्भर होते हैं |राज्य की चार यही मुख्य समस्यायें होती हैं |राज्य अधिकारी लोग न तो अर्थवृद्दि में प्रमाद करें ,न राज्यश्री का असद्व्यय करें और न उसे अनुपयोग से नष्ट होने दें |श्री की दान भोग तथा नाश से चोथी गति नहीं है |राजा लोग सामादि उपायों से ,फूल में से अति क्षुद्र मात्रा में रस लेते ,फिर मधुकारों के समान सुसह्य उपायों से प्रजा से धन संग्रह करें |

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